#BJP नेता की लाश
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BJP नेता की लाश: BJP नेता की सड़क किनारे मिली लाश में बड़ा खुलासा, पत्नी-बेटी समेत पूरा परिवार पुलिस हिरासत में…
BJP नेता की लाश : लोरमी। BJP leader’s dead body found : छत्तीसगढ़ के मुंगेली जिले में एक बीजेपी नेता की सड़क किनारे संदिग्ध हालत में लाश मिलने के मामले में बड़ा खुलासा हुआ है। बताया जा रहा है कि इस मामले में मृतक भाजपा नेता के परिवार वालों को हिरासत में लिया गया है। मिली जानकारी के अनुसार बीजेपी नेता के हत्याकांड के मांमले में 5 संदिग्धों को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है। बता दें कल भाजपा…
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Uttarakhand : Ankita Bhandari की हत्या, BJP नेता का बेटा मुख्य आरोपी
Uttarakhand : Ankita Bhandari की हत्या, BJP नेता का बेटा मुख्य आरोपी
उत्तराखंड के पौढ़ी गढ़वाल जिले के यमकेश्वर क्षेत्र के एक प्राइवेट रिसॉर्ट में रिसेप्शनिस्ट Ankita Bhandari की हत्या की पुष्टि हो गयी है। उत्तराखंड पुलिस ने पूर्व में जिन तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया था, उन्होंने जुर्म स्वीकार कर लिया है। उनकी निशानदेही पर लाश की खोज की जा रही है। आपको बता दें कि यमकेश्वर के एक प्राइवेट रिसॉर्ट में काम करने वाली 18 वर्षीय Ankita Bhandari 18 सितम्बर से लापता थी।…
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बुदनी के जंगलों में भोपाल की ब्यूटीशियन की लाश, बीजेपी नेता पति पर आरोप, पुलिस ने किया गिरफ्तार
बुदनी के जंगलों में भोपाल की ब्यूटीशियन की लाश, बीजेपी नेता पति पर आरोप, पुलिस ने किया गिरफ्तार
हाइलाइट्स भोपाल के कोलार इलाके में रहने वाली ब्यूटीशियन नैना की मिली लाश सीहोर जिले स्थित बुदनी के जंगलों में मिली लाश सलकनपुर मंदिर से लौटते वक्त पति ने मारकर फेंक दिया पुलिस ने आरोपी पति को किया गिरफ्तार सीहोरपुलिस ने बुदनी मिटघाट के जंगलों में चार दिन पहले संदिग्ध परिस्तिथियों में मिली एक युवती की लाश ��ी गुत्थी सुलझा ली है। युवती की शिनाख्त भोपाल निवासी नैना उर्फ शिखा पासवान के (BJP Leader…
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दिल्ली में BJP नेता जुल्फिकार कुरैशी की हत्या,बेटे की हालत नाजुक
नई दिल्ली : देश की राजधानी में अपराध थमने का नाम नहीं ले रहा है बता दें कि राजधानी में अपराध का ग्राफ दिन पे दिन बढ़ता जा रहा है इसी बीच खबर आ रही है कि आज सुबह एक बार फिर दिल्ली के नंद नगरी इलाके के सुन्दर नगरी में भारतीय जनता पार्टी के नेता और आरटीआई कार्य��र्ता जुल्फिकार कुरैशी की गोली मारकर हत्या कर दी गई है | जानकारी की मुताबिक इस घटना को कुछ अज्ञात लोगों ने अंजाम दिया है |इतना ही नहीं बदमाशों ने किराशि की साथ साथ उनके बेटे पर भी हमला बोला है और पिता को गोली मारने की बाद बेटे पर भी चाकू से हमला कर घायल कर दिया | सोमवार की सुबह वारदात को अंजाम दिया गया है |
पुलिस से मिली जानकारी के मुताबिक, जुल्फिकार कुरैशी सोमवार सुबह नमाज पढ़ने के लिए मज्सिद जा रहे थे | इसी दौरान रास्ते में अज्ञात बदमाशों ने उनपर हमला कर दिया | उन्हें गोली मार दी गई, जिससे उनकी मौत हो गई है | साथ ही बेटे को भी घायल कर दिया गया | पुलिस हत्या का मामला दर्ज कर लिया है और जांच भी शुरू कर दी गई है |
बेटे का इलाज जारी
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, दिल्ली पुलिस ने जुल्फिकार कुरैशी के बेटे को स्वामी दयानंद अस्पताल में भर्ती कराया है, जहां उसकी हालत नाजुक बनी हुई है | जुल्फिकार की लाश को पोस्टमॉर्टम के लिए भेजकर परिवार के लोगों से पूछताछ की जा रही है | अभी तक वारदात के कारणों को लेकर दिल्ली पुलिस की ओर से आधिकारिक बयान जारी नहीं किया गया है |
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KamalNath। Jyotiraditya scindia supporters bjp dimani candidate attacks on kamal nath | मंत्री दंडोतिया बोले- दिमनी-अंबाह में कमलनाथ महिला के लिए अपशब्द बोलते तो उनकी लाश जाती
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KamalNath। Jyotiraditya scindia supporters bjp dimani candidate attacks on kamal nath | मंत्री दंडोतिया बोले- दिमनी-अंबाह में कमलनाथ महिला के लिए अपशब्द बोलते तो उनकी लाश जाती
मुरैना/भोपाल14 मिनट पहले
गिर्राज दंडोतिया शिवराज सरकार में राज्यमंत्री हैं और दिमनी से उपचुनाव में भाजपा के प्रत्याशी हैं।
कमलनाथ ने डबरा में शिवराज सरकार में मंत्री इमरती देवी को आइटम कह दिया था
इसके बाद मंत्री बिसाहूलाल साहू ने कांग्रेस प्रत्याशी की पत्नी को रखैल कह दिया था
मध्यप्रदेश के उपचुनाव में भाजपा-कांग्रेस के नेताओं का एक-दूसरे के लिए अमर्यादित भाषा का उपयोग थमने का नाम नहीं ले रहा है। मुरैना के दिमनी में हुई सभा में भाजपा प्रत्याशी और शिवराज सरकार में मंत्री गिर्राज दंडोतिया ने कमलनाथ को लेकर विवादित बयान दिया है।
दंडोतिया ने कहा कि डबरा की जगह दिमनी होता तो कमलनाथ की यहां से लाश उठकर जाती। गुरुवार को दिमनी के कमतरी में हुई इस सभा में ज्योतिरादित्य सिंधिया भी मंच पर मौजूद थे। आज ही मुरैना के अंबाह और जौरा में कमलनाथ ने भी अपने प्रत्याशियों के समर्थन में सभाएं की हैं।
राज्यमंत्री दंडोतिया यहीं नहीं रुके। उन्होंने कांग्रेस के एक नेता के व्यक्तिगत जीवन पर टिप्पणी करते हुए कहा, ’75 साल का बुड्ढा 45 साल की महिला को शादी करके घर ले आया। घर में बहू लाने की उम्र में सास ले आया। हमारे यहां कोई ऐसा करता तो उसे घर से ही निकाल देते।’
दिमनी से भाजपा प्रत्याशी गिर्राज दंडोतिया ने कहा, ‘डबरा में कमलनाथ ने का कह दियो, पतो है। अपनी चंबल में अपनी मां-बहन को कोई ऐसा बोल दे तो कत्ल होय जावो। ये तो बढ़िया भई कि कमलनाथ डबरा में रहे। अनुसूचित जाति की गरीब महिला हुई। माता-बहन किसी भी जाति की हो वो अपनी होती है। वो तो बढ़िया हुई डबरा में कहा, दिमनी तरफ कहा होता तो यहां से लाशें उठकर जातीं।’
हालांकि, इसके पहले गिर्राज दंडोतिया बोल रहे थे तो सभा से जय-जय कमलनाथ के नारे भी लग रहे थे।
“हमने एसपी से कह दिया तो मोटरसाइकिलों की चेकिंग बंद हो गई” दिमनी में आयोजित सभा में राज्यमंत्री गिर्राज दंडौतिया ने यह भी कहा कि हमने एसपी से कहा तो हमारे यहां मोटरसाइकिलों की चेकिंग बंद हो गई। अपनी ठेठ भाषा में कहा कि घर से सामान लेने के लिए जाते वक्त पुलिस चेकिंग में पकड़ लेती है। सामान के पैसा चालान भरने में चलते जाते हैं। इसलिए हमने एसपी से कह दिया कि अब चेकिंग मत करना।
राज्यमंत्री के बयान पर कांग्रेसियों ने FIR दर्ज करने की मांग की शिवराज सरकार में राज्यमंत्री गिर्राज दंडौतिया द्वारा पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ, दिग्विजय सिंह के ऊपर अभद्र व अशोभनीय टिप्पणी किए जाने के विरोध में कांग्रेस उग्र हो गई है। गुरुवार की रात 7.30 बजे जिला कांग्रेस अध्यक्ष दीपक शर्मा के नेतृत्व में दर्जनों कांग्रेसियों ने कलेक्टोरेट पर राज्यमंत्री के खिलाफ नारेबाजी की और पुलिस व प्रशासनिक अफसरों को ज्ञापन सौंपकर राज्यमंत्री के खिलाफ FIR दर्ज करने की मांग की।
राज्य में उपचुनावों में लगातार गिर रहा बयानबाजी का स्तर
मध्य प्रदेश के उपचुनावों में बयानबाजी का स्तर गिरता जा रहा है। पहले कमलनाथ ने डबरा की सभा में इमरती देवी को आइटम कहा। इसके बाद शिवराज सरकार के एक मंत्री बिसाहूलाल साहू ने कांग्रेस प्रत्याशी की पत्नी को रखैल कह दिया। चुनाव में वीडियो भी वायरल किए जा रहे हैं। हालांकि, कमलनाथ के बयान को लेकर चुनाव आयोग ने सख्ती दिखाते हुए नोटिस जारी किया है, जिसका जवाब उन्हें 48 घंटे के अंदर देना है।
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पेड़ पर लटकती लाश की फोटो को बीजेपी नेता का बताकर हाथरस केस से जोड़ा जा रहा, पड़ताल में ये घटना 2 साल पुरानी निकली Hindi News No fake news Fact Check: Is This Dead Body Hanging On The Tree Of The BJP Leader Recently Killed In West Bengal?
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पेड़ पर लटकती लाश की फोटो को बीजेपी नेता का बताकर हाथरस केस से जोड़ा जा रहा, पड़ताल में ये घटना 2 साल पुरानी निकली Hindi News No fake news Fact Check: Is This Dead Body Hanging On The Tree Of The BJP Leader Recently Killed In West Bengal?
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शरद पवार का PM मोदी पर निशाना, दिल्ली में जीत नहीं पाई BJP तो केंद्र ने हिंसा कराई
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शरद पवार का PM मोदी पर निशाना, दिल्ली में जीत नहीं पाई BJP तो केंद्र ने हिंसा कराई
दिल्ली हिंसा के लिए केंद्र सरकार जिम्मेदार: शरद पवार
��त्ता में बैठे लोगों के कारण हुई हिंसा: शरद पवार
दिल्ली हिंसा को लेकर अब राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) प्रमुख शरद पवार ने भारतीय जनता पार्टी पर हमला बोला है. उन्होंने कहा है कि केंद्र में सत्ताधारी पार्टी दिल्ली में चुनाव नहीं जीत सकी तो उसने दिल्ली में हिंसा करवा दी.
शरद पवार ने कहा, ‘पिछले कुछ दिनों में दिल्ली जल रही थी. दिल्ली वह जगह है, जहां लोग अलग-अलग हिस्सों से आते हैं. हमारे देश में सत्ता में रहने वाली पार्टी को दिल्ली चुनाव जीतने का कोई मौका नहीं मिला. चुनावों के दौरान हमने कई भाषण सुने. प्रधानमंत्री, गृह मंत्री और अन्य मंत्रियों ने समाज को परेशान करने की कोशिश की.’
यह भी पढ़ें: दिल्ली: हिंसा थमने के बाद गोकुलपुरी नाले से एक ही दिन में मिली दूसरी लाश
उन्होंने कहा, ‘मैं उस समय स्तब्ध रह गया जब प्रधानमंत्री ने अपने भाषण के दौरान कहा कि व्यक्ति की पहचान उसके कपड़ों से की जा सकती है. प्रधानमंत्री पूरे देश और सभी धर्मों के लिए हैं. ऐसे भाषण देने वाले नेता बहुत चिंतित हैं. आप अन्य नेताओं के भाषणों को भी सुन सकते हैं, जैसे कि गोली मारो के नारे. इस तरह के नारे लोगों को बहुत भय में डाल रहे हैं और हमारे देश में ऐसी निंदनीय बातें कभी नहीं हुई हैं.
सत्ता में बैठे लोगों के कारण हुआ
दिल्ली हिंसा को लेकर शरद पवार ने कहा कि स्कूलों पर हमला किया गया. शिक्षा संस्थानों पर हमला किया गया. यह सब सत्ता में बैठे लोगों के कारण हुआ है. अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप जब दिल्ली आए तो दिल्ली के एक हिस्से में हिंसा हो रही थी. लोकसभा चुनावों में फैसला लेने वाले लोग अब पूरी तरह से खिलाफ हैं.
यह भी पढ़ें: दिल्ली हिंसा: नाले से पुलिस को मिली लाश, जारी है सर्च ऑपरेशन
शरद पवार ने कहा, ‘दिल्ली में लोग बिहार, बंगाल, दक्षिण भारत से हैं. मैं बीजेपी को दूर रखने के लिए दिल्ली के लोगों को धन्यवाद देता हूं. केंद्र सरकार अच्छी स्थिति में नहीं है. जो वे चाहते हैं वो नहीं हो रहा है और बाद में दिल्ली में दंगे जैसी घटनाएं हुईं. जब सत्ता के लोग जाति और धर्म के नाम पर विभाजित करने की बात करते हैं तो इसका असर दिखाई देगा.
केंद्र सरकार जिम्मेदार
शरद पवार का कहना है, ‘ऐसी पार्टी पर जीत ��र्ज करने और उन्हें हराने के लिए हम सभी को एक साथ आना होगा. एनसीपी इसके लिए तैयार है. दिल्ली में केंद्र सरकार के पास पुलिस की शक्ति है और इसलिए पूरी तरह से दिल्ली में हिंसा के लिए केंद्र सरकार जिम्मेदार है.’
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Love affair & Murder ऐसे हुआ ट्विंकल मर्डर केस का खुलासा, BJP नेता ने रची थी साजिश - mp indore congress woman leader murder abduction corpse accused bjp leader arrested
इंदौर में कांग्रेस की एक युवा नेता अचानक रहस्यमयी तरीक़े से गायब हो जाती है. घरवाले पुलिस में रिपोर्ट लिखवाते हैं और बीजेपी के एक कद्दावर नेता पर अपनी बेटी को गायब करने का इल्ज़ाम लगाते हैं. इसी बीच पुलिस को खबर मिलती है कि उन्हीं नेता जी ने अपने घर में हाल ही में गड्ढे खुदवा कर उसमें लाश दबाई है. पुलिस मान बैठी केस सुलझ गया. मगर जब गड्ढे की खुदाई होती है तो उसमें से लाश तो मिलती है, पर गुमशुदा नेता की नहीं. अब केस एक बार फिर वहीं आकर खड़ा हो जाता है जहां से शुरू हुआ था.
16 अक्टूबर 2016, बाणगंगा पुलिस स्टेशन, इंदौर
इंदौर शहर कांग्रेस कमेटी की सचिव 22 साल की ट्विंकल डागरे अचानक गायब हो जाती है. उनका मोबाइल फोन भी बंद हो जाता है. 24 घंटे बीत जाते हैं. कोई खबर नहीं मिलती. लिहाज़ा मजबूरन बाणगंगा पुलिस स्टेशन में ट्विंकल के पिता संजय डागरे अपनी बेटी की गुमशुदगी की रिपोर्ट लिखा देते हैं. पुलिस सबसे पहले उसकी कॉल डिटेल और मोबाइल फोन की लोकेशन चेक करती है. पता चलता है कि आखिरी बार इंदौर से होते हुए बदनावर पहुंचकर फोन बंद किया गया है. जिसके बाद फिर फोन ऑन नहीं किया गया. जांच में पता चला कि ये वही बदनावर है, जहां के रहने वाले अमित से ट्विंकल का रिश्ता हुआ था. जल्द ही दोनों की शादी होने वाली थी.
पहला शक- मंगेतर अमित पर
ट्विंकल डागरे अमित की मंगेतर थी और अमित बदनावर का ही रहने वाला था जहां ट्विंकल की आखिरी मोबाइल लोकेशन ट्रेस हुई थी. लिहाज़ा पहला शक़ अमित पर गया. पुलिस ने छानबीन की तो पता चला कि 15 अक्टूबर के बाद उसकी ना तो ट्विंकल से बात हुई और ना ही वो उससे मिला. पुलिस बदनावर से बैरंग लौट आई..
दूसरा शक- माता-पिता पर
पुलिस ने ट्विंकल के बारे में बारीकी से पता करना शुरू किया तो पता चला कि वो खुद अपने ही मां-बाप से परेशान थी और कई बार थाने में उसने शिकायत भी दर्ज कराई थी. मगर मां-बाप से पूछताछ के बाद पुलिस को अंदाज़ा हो गया कि ट्विंकल की गुमशुदगी में उनका कोई हाथ नहीं. लेकिन मां-बाप से एक नई जानकारी पुलिस को जरूर मिली. पता चला कि ट्विंकल एक स्थानीय बीजेपी नेता और पूर्व महामंत्री जगदीश करोतिया के काफी करीब थी. ट्विंकल के मां-बाप अकसर इसी बात पर उसे डांटते थे.
तीसरा शक- बीजेपी नेता जगदीश करोतिया पर
चूंकि ट्विंकल कॉलेज से ही छात्र राजनीति में बहुत आगे थी. और बीजेपी की तरफ उसका झुकाव था. लिहाज़ा बीजेपी के नेता और पूर्व महामंत्री जगदीश करोतिया से उसका मिलना जुलना शुरू हुआ. मगर 65 साल के जगदीश को ट्विंकल में देश का भविष्य दिखने के बजाए कुछ और ही दिख रहा था. जल्द ही वो ट्विंकल के करीब आ गए. ट्विंकल भी उसके झांसे में आ गई. जगदीश ने उसे बीजेपी में पद भी दिलवा दिया. बाद में उसने अपने प्रभाव से ट्विंकल को शहर कांग्रेस कमेटी का सचिव बनवा दिया. कुल मिलाकर यही वो शख्स था जिससे ट्विंकल का सबसे ज़्यादा मिलना जुलना था. लिहाज़ा पुलिस ने पूछताछ शुरू की. मगर उसने पुलिस एक वॉट्सअप मैसेज दिखाया. जो ट्विकंल ने उसके बेटे को भेजा था. इसमें लिखा था कि वो अपने मां-बाप से परेशान होकर घर छोड़ कर जा रही है.
चौथा शक- ब्वॉयफ्रेंड पर
अब तक जांच में पुलिस को कोई भी सुराग नहीं मिल रहा था. तफ्तीश में ट्विंकल के किसी ब्वायफ्रैंड़ के बारे में भी ��ानकारी नहीं मिली. लिहाज़ा शक की सूई बार बार बीजेपी नेता जगदीश करोतिया की तरफ ही घूम जाती. इसलिए पुलिस सुराग की तलाश में करोतिया के दफ्तर और घर के आसपास लगातार खाक छान रही थी और तभी उसके हाथ लगा पहला सुराग.
पहला सुराग़- करोतिया के घर में किसी को दफ़नाया गया
ये खबर कहां से उड़ी किसी को नहीं पता. मगर उड़ते उड़ते ये खबर पुलिस को भी लगी कि बीजेपी नेता जगदीश करोतिया के घर में किसी को दफ्नाया गया है. पुलिस के लिए इतना सुराग काफी था. पुलिस ने करोतिया के घर में खुदाई शुरू करा दी. और आखिरकार फावड़े की एक मार के साथ कुछ हड्डियां बाहर आईं. इतना तो तय हो गया कि खबर सच्ची है. मगर ज़मीन को अंदर से जब पूरी लाश बाहर आई तो पता चला कि वो किसी इंसान का नहीं बल्कि कुत्ते का है. अब जगदीश करोतिया को मौका मिल गया, पुलिस को दबाव में लेने का.
पुलिस परेशान थी क्योंकि उसके सारे दांव उल्टे पड़ते जा रहे थे. उसे ट्विंकल की गुमशुदगी का ना तो कोई सुराग मिल रहा था और ना ही कोई सबूत. फिर भी इंदौर पुलिस को कहीं ना कहीं यही लग रहा था कि ट्विंकल की गुमशुदगी का राज़ राजेश करोतिया से ही जुड़ा है.
बीजेपी नेता पर शक की वजह
भाजपा नेता जगदीश करोतिया पर पुलिस के शक की दो वजह थी. अव्वल तो लड़की के घरवाले करोतिया पर सीधा-सीधा इल्ज़ाम लगा रहे थे. दूसरा करोतिया से ट्विंकल के रिश्तों को लेकर शहर में तरह-तरह की चर्चाएं थीं. लेकिन करोतिया के फ़ार्म हाउस से लड़की की जगह कुत्ते की लाश बरामद करने के बाद पुलिस अब सावधानी बरत रही थी. पर केस आगे बढ़ नहीं रहा था. तभी अचानक इंदौर पुलिस ने एक फैसला किया और उस फैसले को अमल में लाने के लिए वो अदालत पहुंच गई.
अप्रैल 2018
ट्विंकल को गुम हुए लगभग डेढ़ साल बीत चुके थे. पर ना तो उसकी कोई खबर मिल रही थी और ना ही खुद वो. यहां तक कि कोई लाश भी नहीं मिली जिससे ये मान लिया जाए कि उसकी मौत हो चुकी है. लिहाज़ा पुलिस किसी नतीजे पर नहीं पहुंच पा रही थी. जगदीश करोतिया के घर से कुत्ते के अवशेष मिलने के बाद उसके पास कोई और ऐसी वजह नहीं थी, जिससे वो बीजेपी नेता पर शक कर सके. और ना ही ऐसा कोई सुराग मिला जिससे शक ट्विंकल के मां-बाप या उसके मंगेतर पर जाए. पर कुल मिलाकर पूरा केस अब भी इन्हीं तीन किरदारों के ईर्द गिर्द घूम रहा था.
इधर, जैसे-जैसे वक्त बीत रहा था पुलिस की फजीहत पढ़ती जा रही थी. बीजेपी नेता जगदीश करोतिया से पुलिस को कुछ खास सुनारग मिल नहीं रहा था. वहीं ट्विंकल के घरवाले बार बार करोतिया की तरफ ही इशारा कर रहे थे. लिहाज़ा तय किया गया कि ट्विंकल गुमशुदगी केस की गुत्थी सुलझाने के लिए सूबे की पुलिस पहली बार वैज्ञानिक तरीके का इस्तेमाल करेगी. जिसे बीईओएस यानी ब्रेन इलेक्ट्रिकल आसलेशन सिग्नेचर टेस्ट कहते हैं. आसान ज़बान में इसे ब्रेन मैपिंग टेस्ट सम��िए. केस ऐसे मोड़ पर था कि पुलिस अकेले बीजेपी नेता जगदीश करोतिया का टेस्ट नहीं करा सकती थी लिहाज़ा उसके दो बेटों. ट्विंकल के मां-बाप और मंगेतर अमित का भी ब्रेन मैपिंग टेस्ट जगदीश करोतिया के साथ कराने का फैसला लिया गया.
ट्विंकल के मां-बाप और मंगेतर अमित ब्रेन इलेक्ट्रिकल आसलेशन सिग्नेचर टेस्�� में साफ निकल गए. मगर जब ये टेस्ट जगदीश करोतिया और उनके बेटों पर कराया गया तो ट्विंकल गुमशुदगी केस मे अचानकं भूचाल आ गया. पता चला कि पुलिस और ट्विंकल के मां-बाप का शक़ सौ फीसदी सही है. जगदीश और उसके बेटों ने ही ट्विंकल की ना सिर्फ किडनैपिंग की. बल्कि डेढ़ साल पहले ही उसे मौत के घाट भी उतार दिया था. पर अभी भी पुलिस के लिए मुश्किल ये थी कि सबूत कहां से लाए. कत्ल का, किडनैपिंग का या फिर लाश का? क्योंकि कानूनी तौर पर सिर्फ ब्रेन मैपिंग को कोर्ट में सबूत के तौर पर पेश नहीं किया जा सकता था.
लिहाज़ा पुलिस ने तय किया कि वो टेस्ट के नतीजों को तब तक गुप्त रखेगी जब तक कि सबूत ना हाथ लग जाएं. इसके बाद वो उन सबूतों-गवाहों को इकट्ठा करने में जुट गई. जिनका इन तीनों आरोपियों ने ब्रेन मैपिंग टेस्ट के दौरान खुलासा किया था. कामयाबी हाथ लगती है और फिर इसी के साथ पूरी कहानी सामने आ जाती है.
दरअसल, भाजपा नेता जगदीश करोतिया के ट्विंकल के साथ अवैध संबंध थे. ट्विंकल जगदीश करोतिया पर उसके ही घर में रहने के लिए दबाव बना रही थी. करोतिया और ट्विंकल के इस रिश्ते की वजह से उसकी पत्नी और बेटों से झगड़ा हो गया. जगदीश को राजनीतिक करियर डूबने की चिंता थी, लिहाज़ा उसने ट्विंकल के क़त्ल की साज़िश रच डाली. जगदीश करोतिया के दोनों बेटे भी साज़िश में शामिल थे. तीनों ने ट्विंकल की किडनैपिंग और मर्डर से पहले हिंदी फिल्म ‘दृश्यम’ को कई बार देखा था.
पूछताछ में दृश्यम फिल्म का ज़िक्र आते ही पुलिस को ये समझने में भी देर नहीं लगी कि जगदीश करोतिया के घर से निकले कुत्ते का शव इसी साज़िश का हिस्सा था. और तो और खुद जगदीश करोतिया ने ये खबर फैलाई थी कि उनके घर में किसी की लाश दफन है. ताकि पुलिस जब आए तो उसे खुदाई में कुत्ते का शव मिले और उन पर लग रहे इल्ज़ाम एक ही झटके में खत्म हो जाएं. और हुआ भी ठीक ऐसा ही.
मगर अब भी ये सवाल कायम था कि अगर जगदीश करोतिया के घर से कुत्ते का शव मिला तो ट्विंकल का शव कहां है. और इतना ही नहीं उसके मोबाइल की आखिरी लोकेशन ये क्यों बता रही थी कि वो इंदौर से करीब 100 किमी दूर बदनावर में थी. अभी इनका खुलासा होना बाकी था.
ट्विंकल की गुमशुदगी को लेकर करोतिया परिवार अब बेनक़ाब हो चुका था. लेकिन कुछ सवाल अब भी जस का तस थे. और वो ये कि आख़िर ट्विंकल का मोबाइल फ़ोन आख़िरी बार उसके मंगेतर के घर के पास जाकर क्यों बंद हुआ? और दूसरा ये कि ट्विंकल की लाश का क्या हुआ? तो ये कहानी भी आखिर में सामने आती है.
बीजेपी नेता जगदीश करोतिया ने ट्विंकल को अपनी हवस का शिकार तो बना लिया था मगर अब वो उसी के गले क�� हड्डी बनने लगी थी. ट्विंकल जगदीश के साथ उसी के घर में रहने की ज़िद कर रही थी. मगर ये ना तो जगदीश की पत्नी को गवारा था और ना ही उनके बेटों को. लिहाज़ा पांचों ने मिलकर दृश्यम पार्ट टू बनाने का फैसला किया. इसमें जगदीश उसके बेटे विजय, अजय और विनय के अलावा पांचवा किरदार नीलेश कश्यप था. जिसकी ज़मीन पर ट्विंकल का कत्ल किया जाना था.
जगदीश ने ट्विंकल से कहा कि वो उसे कहीं और घर दिलाएगा. उसी बहाने उसे साजिश के तहत फंसाया गया. 16 अक्टूबर 2016 की सुबह 11 बजे मकान देखने के लिए ट्विंकल को बीजेपी नेता ने घर बुलाया. बहाने से अजय और जगदीश करोतिया उसे एमआर-10 पर दोस्त नीलेश के खेत पर ले गए. खेत पर आते ही करोतिया ने अजय के साथ मिलकर रस्सी से ट्विंकल का गला घोंट दिया. जगदीश ट्विंकल के शव को नीलेश के खेत में ही दफनाना चाहता था उसने मना कर दिया. लिहाज़ा तीनों ने शव को कपड़े में लपेटा और कार की डिक्की में रखकर घर ले आए. दूसरे दिन सुबह करीब 5 बजे कार लेकर सांवेर रोड पर अवंतिका नगर के प्लॉट पर पहुंचे. कुत्ता मरने की बात कहकर जगदीश ने निगम कर्मियों से प्लाट पर गड्ढा खुदवाया. निगमकर्मियों के जाते ही गड्डे में कचरा, लकड़ियां जमाकर ट्विंकल के शव को जला दिया. मौके पर जगदीश के अलावा उसके बेटे अजय, विनय और विजय के साथ नीलेश भी था. शव को जलाने के दो दिन बाद हड्डियां और राख बोरे में भरकर नज़दीकी नाले में बहा दी.
इसके बाद अजय ने ट्विंकल का मोबाइल इंदौर में ही ऑन कर बदनावर जाकर फेंक दिया ताकि पुलिस का शक उसके मंगेतर अमित पर जाए. मगर ब्रेन इलेक्ट्रिकल ऑसिलेशन सिग्नेचर टेस्ट में हुए खुलासे ने आरोपियों के दृश्यम की पोल पट्टी खोल दी. पुलिस को शव जलाने वाली जगह से ट्विंकल की बिछिया, ब्रेसलेट, कपड़े और कुछ सामान मिले हैं. जिसके बाद पांचों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया.
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CG News: BJP नेता की मिली लाश ,सड़क किनारे इस हाल में मिला शव ... मचा हड़कंप
CG News लोरमी। छत्तीसगढ़ के मुंगेली जिले से एक बड़ी खबर सामने आ रही है। मुंगेली जिले के लोरमी में एक भाजपा नेता का शव मिलने से हड़कंप मच गया है। बताया जा रहा है कि लोरमी के गोल्हापारा में सड़क के किनारे भाजपा नेता का शव मिला है। इस घटना से आस-पास के इलाकों में हलचल का माहौल बना हुआ है। मिली जानकारी के अनुसार बीजेपी नेता शत्रुघ्न साहू रविवार की शाम से ही लापता थे। जिसके बाद ��ज उनका सड़क के किनारे शव…
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झारखंड में BJP नेता की नाबालिग युवती की आंखें नोंच फंदे पर झुलाया, बलात्कार की शंका
झारखंड में BJP नेता की नाबालिग युवती की आंखें नोंच फंदे पर झुलाया, बलात्कार की शंका
झारखंड से एक शर्मनाक घटना सामने आई हैं, यहां के स्थानीय भाजपा (BJP) नेता की 16 वर्षीय युवती का शव एक पेड़ से लटकता मिला है. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार भारत के राज्य झारखंड के पलामू जिले में भारतीय जनता पार्टी के एक नेता की 16 वर्षीय नाबालिग युवती की लाश एक पेड़ से झूलती मिली, जिसके बाद से इलाके में ��नसनी फ़ैल गई. बता दें की पुलिस प्रशासन ने ये शंका भी जताई है की हत्या से पूर्व युवती के साथ बलात्कार…
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गोपालगंज: BJP के वरिष्ठ नेता कृष्णा शाही की अपहरण के बाद हत्या, कुएं से बरामद हुआ लाश
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पार्षद हुसैन पर हत्या का मामला दर्ज, आप ने निलंबित किया, उसकी बिल्डिंग से पेट्रोल बम-पत्थर मिले थे; हिंसा में 38 की मौत, 364 घायल
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पार्षद हुसैन पर हत्या का मामला दर्ज, आप ने निलंबित किया, उसकी बिल्डिंग से पेट्रोल बम-पत्थर मिले थे; हिंसा में 38 की मौत, 364 घायल
सोशल मीडिया पर आप पार्षद की पांच मंजिला इमारत की छत से मिले सामान के वीडियो-फोटो वायरल
आईबी अफसर अंकित शर्मा के भाई और पिता ने पार्षद ताहिर पर बेटे की हत्या का आरोप लगाया
दिल्ली पुलिस के सूत्रों के मुताबिक, अब तक शाहरुख की गिरफ्तारी नहीं हुई, उसकी तलाश जारी
गृह मंत्रालय ने कहा- बीते 36 घंटे में उत्तर पूर्व दिल्ली के किसी भी पुलिस थाने में कोई बड़ी घटना दर्ज नहीं
अक्षय बाजपेयी
Feb 27, 2020, 10:46 PM IST
नई दिल्ली. पार्षद ताहिर हुसैन के खिलाफ दिल्ली के दयालपुर पुलिस थाने में धारा 302 (हत्या) के तहत एफआईआर दर्ज की गई। इसके बाद आप ने हुसैन को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से निलंबित कर दिया। दोपहर में उसकी बिल्डिंग से पेट्रोल बम, पत्थर, गुलेल और एसिड मिला था। इस बीच, दिल्ली में हुई हिंसा में मृतकों की संख्या 38 हो चुकी है जबकि 364 लोग घायल हैं। गृह मंत्रालय ने कहा- पिछले 36 घंटे में हिंसा प्रभावित उत्तर पूर्व दिल्ली के किसी भी पुलिस थाने में कोई बड़ी घटना दर्ज नहीं हुई। शुक्रवार को धारा 144 में 10 घंटों के लिए ढील दी जाएगी।
दरअसल, आम आदमी पार्टी से पार्षद रहे ताहिर हुसैन पर करावल नगर में हिंसा भड़काने के आरोप लगे हैं। इंटेलिजेंस ब्यूरो (आईबी) के कॉन्स्टेबल अंकित शर्मा के भाई-पिता के अलावा भा��पा नेता कपिल मिश्रा ने ताहिर पर ही अंकित की हत्या के आरोप लगाए हैं। पुलिस ने ताहिर को पूछताछ के लिए बुलाया था, लेकिन वो बुधवार सुबह से ही लापता है। उसने वीडियो जारी करके और कुछ टीवी चैनलों को दिए इंटरव्यू के जरिए खुद पर लगे आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया। इस बीच, भास्कर टीम ने ताहिर की करावल नगर स्थित पांच मंजिला अंडर कंस्ट्रक्शन बिल्डिंग का दौरा किया, जहां पत्थर, एसिड और पेट्रोल बम की बोतलें और गुलेल बिखरे पड़े थे।
बुधवार-गुरुवार को कोई घटना नहीं हुई
उत्तर-पूर्व दिल्ली में सीएए के मुद्दे पर हुई हिंसा में मरने वालों की संख्या गुरुवार को 38 (34 जीटीबी, 3 एलएनजेपी और 1 जेपीसी हॉस्पिटल) तक पहुंच गई जबकि 364 लोग घायल हुए हैं। यहां के जाफराबाद-मौजपुर और आसपास के इलाकों में 23, 24 और 25 फरवरी को नागरिकता संशोधन कानून के सर्मथक और विरोधी गुटों में हिंसक झड़प हुई थीं। पुलिस ने अब तक 48 एफआईआर दर्ज की है जबकि 514 लोगों को संदेह के आधार पर हिरासत में लिया है। सभी से पूछताछ की जा रही है। साउथ ईस्ट डीसीपी मीणा ने बताया- अमन कमेटियों के सदस्यों के साथ बैठक हुई। सभी शांतिपूर्ण ढंग से रहने और प्रोटेस्ट को अनिश्चितकाल के लिए टालने पर राजी हुए हैं।
अवैध कॉलोनी में आलीशान दफ्तर बनवा रहा है ताहिर ताहिर इंटीरियर डेकोरेशन के ठेके लेता है। उसकी पांच मंजिला बिल्डिंग के हर फ्लोर पर पत्थर, पेट्रोल बम, तेजाब और गुलेल बिखरे नजर आए। यह कोल्ड ड्रिंक्स की कैरेट में रखे गए थे। साफ नजर आया कि बवाल की साजिश यहां पहले ही रची जा चुकी थी। स्थानीय लोगों के मुताबिक, ताहिर खुद मुस्तफाबाद में रहता है। यहां वो आलीशान ऑफिस बनवा रहा है। यहां निर्माण कार्य चल रहा है। यह कॉलोनी भी अवैध है। इस इमारत के ठीक बगल में बीजेपी के पूर्व पार्षद महक सिंह का गोडाउन है। इसमें आसपास के लोगों की करीब 40 कार पार्क थीं। इनमें से 25 राख हो चुकी हैं। खास बात ये है कि आसपास के ज्यादातर घरों पर जलने के निशान मौजूद हैं। लेकिन, हुसैन का घर सही सलामत है। उसके कुछ वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं। इनमें वो हाथ में डंडा लिए कई लोगों के साथ घर की छत पर नजर आता है।
विदेशी मीडिया भी मौजूद ताहिर की बिल्डिंग करावल नगर की मेन रोड पर है। गुरुवार सुबह से ही यहां देश-विदेश का मीडिया मौजूद है। पुलिस की इजाजत से मीडिया ��ाले इमारत के अंदर गए। मेन रोड अब भी पत्थर और कांच के टुकड़ों से पटी पड़ी है। सड़क पर इक्का-दुक्का गाड़ियां ही नजर आईं। सीआरपीएफ और पुलिस का रवैया अब बेहद सख्त है। अलबत्ता गलियों में कुछ लोग घरों के बाहर बैठे दिखे। इनमें बुजुर्गों की संख्या ज्यादा थी। कुछ दुकानें खुली दिखीं। हालांकि, इनमें भी ग्राहक कम थे।
नाले से मिला था अंकित का शव बुधवार दोपहर अंकित का शव चांद बाग इलाके के एक नाले से मिला था। अंकित के पिता रविंद्र शर्मा भी आईबी में ही अफसर हैं। अंकित के पिता और भाई दोनों ने हत्या का आरोप आप के पार्षद ताहिर पर लगाया। गुरुवार को भाजपा नेता कपिल मिश्रा ने न्यूज एजेंसी एएनआई से कहा कि ताहिर दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल के लगातार संपर्क में है। एक टीवी चैनल से बातचीत में ताहिर ने खुद को निर्दोष बताते हुए ये भी कहा कि उसके घर पर कुछ लोगों ने कब्जा कर लिया था।
हत्यारा ताहिर हुसैन हैं
सिर्फ अंकित शर्मा नहीं चार लड़कों को घसीट कर ले गए उनमें से तीन की लाश मिल चुकी हैं
वीडियो में खुद ताहिर हुसैन नकाबपोश लड़को के साथ, लाठी, पत्थर, गोलियां, पेट्रोल बम लेकर दिख रहा हैं
ताहिर हुसैन लगातार केजरीवाल व AAP के नेताओं से बात कर रहा था
— Kapil Mishra (@KapilMishra_IND) February 27, 2020
#AAP councillor Tahir Hussain was rescued by @DCPNEastDelhi Ved Prakash Surya on 24th February after a mob attacked his home.
Here’s what Tahir has to say.
Do listen and out this as a slap on every BJP thug trying to blame someone who is himself a victim of the riots.
1/n pic.twitter.com/1h80x2M2NM
— Ankit Lal (@AnkitLal) February 26, 2020
लोग घर में घुसे और हाथ-पैर पकड़ उठा ले गए अंकित को अंकित शर्मा की हत्या के मामले को लेकर इलाके में रहने वाले लोगों का कहना है कि आठ दस लोग उसके हाथ-पैर पकड़ उठा ले गए थे। उसे एक इमारत के अंदर ले जाया गया था। वहीं पर उसकी हत्या करने के बाद शव को नाले में फेंका गया। उस वक्त अंकित के साथ मौजूद रहने वाले तीन अन्य युवक भी लापता बताए जाते हैं। जानकारी के मुताबिक, कुछ महिलाओं ने अंकित के शव को नाले में फेंकते हुए ��ी देखा था। यह बात बुधवार को जब इलाके में फैली, उसके बाद ही नाले को चैक किया गया था। यहां से अंकित का शव बरामद हुआ। अंकित के शरीर पर आए चोट के निशान बर्बरता की कहानी बयान करते हैं।
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Love affair & Murder दृश्यम फिल्म पार्ट-2: कांग्रेस की महिला नेता का कत्ल, BJP नेता की खौफनाक साजिश - mp indore congress leader murder abduction corpse accused bjp leader arrested police
इंदौर में कांग्रेस की एक युवा नेता अचानक रहस्यमयी तरीक़े से गायब हो जाती है. घरवाले पुलिस में रिपोर्ट लिखवाते हैं और बीजेपी के एक कद्दावर नेता पर अपनी बेटी को गायब करने का इल्ज़ाम लगाते हैं. इसी बीच पुलिस को खबर मिलती है कि उन्हीं नेता जी ने अपने घर में हाल ही में गड्ढे खुदवा कर उसमें लाश दबाई है. पुलिस मान बैठी केस सुलझ गया. मगर जब गड्ढे की खुदाई होती है तो उसमें से लाश तो मिलती है, पर गुमशुदा नेता की नहीं. अब केस एक बार फिर वहीं आकर खड़ा हो जाता है जहां से शुरू हुआ था.
16 अक्टूबर 2016, बाणगंगा पुलिस स्टेशन, इंदौर
इंदौर शहर कांग्रेस कमेटी की सचिव 22 साल की ट्विंकल डागरे अचानक गायब हो जाती है. उनका मोबाइल फोन भी बंद हो जाता है. 24 घंटे बीत जाते हैं. कोई खबर नहीं मिलती. लिहाज़ा मजबूरन बाणगंगा पुलिस स्टेशन में ट्विंकल के पिता संजय डागरे अपनी बेटी की गुमशुदगी की रिपोर्ट लिखा देते हैं. पुलिस सबसे पहले उसकी कॉल डिटेल और मोबाइल फोन की लोकेशन चेक करती है. पता चलता है कि आखिरी बार इंदौर से होते हुए बदनावर पहुंचकर फोन बंद किया गया है. जिसके बाद फिर फोन ऑन नहीं किया गया. जांच में पता चला कि ये वही बदनावर है, जहां के रहने वाले अमित से ट्विंकल का रिश्ता हुआ था. जल्द ही दोनों की शादी होने वाली थी.
पहला शक- मंगेतर अमित पर
ट्विंकल डागरे अमित की मंगेतर थी और अमित बदनावर का ही रहने वाला था जहां ट्विंकल की आखिरी मोबाइल लोकेशन ट्रेस हुई थी. लिहाज़ा पहला शक़ अमित पर गया. पुलिस ने छानबीन की तो पता चला कि 15 अक्टूबर के बाद उसकी ना तो ट्विंकल से बात हुई और ना ही वो उससे मिला. पुलिस बदनावर से बैरंग लौट आई..
दूसरा शक- माता-पिता पर
पुलिस ने ट्विंकल के बारे में बारीकी से पता करना शुरू किया तो पता चला कि वो खुद अपने ही मां-बाप से परेशान थी और कई बार थाने में उसने शिकायत भी दर्ज कराई थी. मगर मां-बाप से पूछताछ के बाद पुलिस को अंदाज़ा हो गया कि ट्विंकल की गुमशुदगी में उनका कोई हाथ नहीं. लेकिन मां-बाप से एक नई जानकारी पुलिस को जरूर मिली. पता चला कि ट्विंकल एक स्थानीय बीजेपी नेता और पूर्व महामंत्री जगदीश करोतिया के काफी करीब थी. ट्विंकल के मां-बाप अकसर इसी बात पर उसे डांटते थे.
तीसरा शक- बीजेपी नेता जगदीश करोतिया पर
चूंकि ट्विंकल कॉलेज से ही छात्र राजनीति में बहुत आगे थी. और बीजेपी की तरफ उसका झुकाव था. लिहाज़ा बीजेपी के नेता और पूर्व महामंत्री जगदीश करोतिया से उसका मिलना जुलना शुरू हुआ. मगर 65 साल के जगदीश को ट्विंकल में देश का भविष्य दिखने के बजाए कुछ और ही दिख रहा था. जल्द ही वो ट्विंकल के करीब आ गए. ट्विंकल भी उसके झांसे में आ गई. जगदीश ने उसे बीजेपी में पद भी दिलवा दिया. बाद में उसने अपने प्रभाव से ट्विंकल को शहर कांग्रेस कमेटी का सचिव बनवा दिया. कुल मिलाकर यही वो शख्स था जिससे ट्विंकल का सबसे ज़्यादा मिलना जुलना था. लिहाज़ा पुलिस ने पूछताछ शुरू की. मगर उसने पुलिस एक वॉट्सअप मैसेज दिखाया. जो ट्विकंल ने उसके बेटे को भेजा था. इसमें लिखा था कि वो अपने मां-बाप से परेशान होकर घर छोड़ कर जा रही है.
चौथा शक- ब्वॉयफ्रेंड पर
अब तक जांच में पुलिस को कोई भी सुराग नहीं मिल रहा था. तफ्तीश में ट्विंकल के किसी ब्वायफ्रैंड़ के बारे में भी जानकारी नहीं मिली. लिहाज़ा शक की सूई बार बार बीजेपी नेता जगदीश करोति���ा की तरफ ही घूम जाती. इसलिए पुलिस सुराग की तलाश में करोतिया के दफ्तर और घर के आसपास लगातार खाक छान रही थी और तभी उसके हाथ लगा पहला सुराग.
पहला सुराग़- करोतिया के घर में किसी को दफ़नाया गया
ये खबर कहां से उड़ी किसी को नहीं पता. मगर उड़ते उड़ते ये खबर पुलिस को भी लगी कि बीजेपी नेता जगदीश करोतिया के घर में किसी को दफ्नाया गया है. पुलिस के लिए इतना सुराग काफी था. पुलिस ने करोतिया के घर में खुदाई शुरू करा दी. और आखिरकार फावड़े की एक मार के साथ कुछ हड्डियां बाहर आईं. इतना तो तय हो गया कि खबर सच्ची है. मगर ज़मीन को अंदर से जब पूरी लाश बाहर आई तो पता चला कि वो किसी इंसान का नहीं बल्कि कुत्ते का है. अब जगदीश करोतिया को मौका मिल गया, पुलिस को दबाव में लेने का.
पुलिस परेशान थी क्योंकि उसके सारे दांव उल्टे पड़ते जा रहे थे. उसे ट्विंकल की गुमशुदगी का ना तो कोई सुराग मिल रहा था और ना ही कोई सबूत. फिर भी इंदौर पुलिस को कहीं ना कहीं यही लग रहा था कि ट्विंकल की गुमशुदगी का राज़ राजेश करोतिया से ही जुड़ा है.
बीजेपी नेता पर शक की वजह
भाजपा नेता जगदीश करोतिया पर पुलिस के शक की दो वजह थी. अव्वल तो लड़की के घरवाले करोतिया पर सीधा-सीधा इल्ज़ाम लगा रहे थे. दूसरा करोतिया से ट्विंकल के रिश्तों को लेकर शहर में तरह-तरह की चर्चाएं थीं. लेकिन करोतिया के फ़ार्म हाउस से लड़की की जगह कुत्ते की लाश बरामद करने के बाद पुलिस अब सावधानी बरत रही थी. पर केस आगे बढ़ नहीं रहा था. तभी अचानक इंदौर पुलिस ने एक फैसला किया और उस फैसले को अमल में लाने के लिए वो अदालत पहुंच गई.
अप्रैल 2018
ट्विंकल को गुम हुए लगभग डेढ़ साल बीत चुके थे. पर ना तो उसकी कोई खबर मिल रही थी और ना ही खुद वो. यहां तक कि कोई लाश भी नहीं मिली जिससे ये मान लिया जाए कि उसकी मौत हो चुकी है. लिहाज़ा पुलिस किसी नतीजे पर नहीं पहुंच पा रही थी. जगदीश करोतिया के घर से कुत्ते के अवशेष मिलने के बाद उसके पास कोई और ऐसी वजह नहीं थी, जिससे वो बीजेपी नेता पर शक कर सके. और ना ही ऐसा कोई सुराग मिला जिससे शक ट्विंकल के मां-बाप या उसके मंगेतर पर जाए. पर कुल मिलाकर पूरा केस अब भी इन्हीं तीन किरदारों के ईर्द गिर्द घूम रहा था.
इधर, जैसे-जैसे वक्त बीत रहा था पुलिस की फजीहत पढ़ती जा रही थी. बीजेपी नेता जगदीश करोतिया से पुलिस को कुछ खास सुनारग मिल नहीं रहा था. वहीं ट्विंकल के घरवाले बार बार करोतिया की तरफ ही इशारा कर रहे थे. लिहाज़ा तय किया गया कि ट्विंकल गुमशुदगी केस की गुत्थी सुलझाने के लिए सूबे की पुलिस पहली बार वैज्ञानिक तरीके का इस्तेमाल करेगी. जिसे बीईओएस यानी ब्रेन इलेक्ट्रिकल आसलेशन सिग्नेचर टेस्ट कहते हैं. आसान ज़बान में इसे ब्रेन मैपिंग टेस्ट समझिए. केस ऐसे मोड़ पर था कि पुलिस अकेले बीजेपी नेता जगदीश करोतिया का टेस्ट नहीं करा सकती थी लिहाज़ा उसके दो बेटों. ट्विंकल के मां-बाप और मंगेतर अमित का भी ब्रेन मैपिंग टेस्ट जगदीश करोतिया के साथ कराने का फैसला लिया गया.
ट्विंकल के मां-बाप और मंगेतर अमित ब्रेन इलेक्ट्रिकल आसलेशन सिग्नेचर टेस्ट में साफ निकल गए. मगर जब ये टेस्ट जगदीश करोतिया और उनके बेटों पर कराया गया तो ट्विंकल गुमशुदगी केस मे अचानकं भूचाल आ गया. पता चला कि पुलिस और ट्विंकल के मां-बाप का शक़ सौ फीसदी सही है. जगदीश और उसके बेटों ने ही ट्विंकल की ना सिर्फ किडनैपिंग की. बल्कि डेढ़ साल पहले ही उसे मौत के घाट भी उतार दिया था. पर अभी भी पुलिस के लिए मुश्किल ये थी कि सबूत कहां से लाए. कत्ल का, किडनैपिंग का या फिर लाश का? क्योंकि कानूनी तौर पर सिर्फ ब्रेन मैपिंग को कोर्ट में सबूत के तौर पर पेश नहीं किया जा सकता था.
लिहाज़ा पुलिस ने तय किया कि वो टेस्ट के नतीजों को तब तक गुप्त रखेगी जब तक कि सबूत ना हाथ लग जाएं. इसके बाद वो उन सबूतों-गवाहों को इकट्ठा करने में जुट गई. जिनका इन तीनों आरोपियों ने ब्रेन मैपिंग टेस्ट के दौरान खुलासा किया था. कामयाबी हाथ लगती है और फिर इसी के साथ पूरी कहानी सामने आ जाती है.
दरअसल, भाजपा नेता जगदीश करोतिया के ट्विंकल के साथ अवैध संबंध थे. ट्विंकल जगदीश करोतिया पर उसके ही घर में रहने के लिए दबाव बना रही थी. करोतिया और ट्विंकल के इस रिश्ते की वजह से उसकी पत्नी और बेटों से झगड़ा हो गया. जगदीश को राजनीतिक करियर डूबने की चिंता थी, लिहाज़ा उसने ट्विंकल के क़त्ल की साज़िश रच डाली. जगदीश करोतिया के दोनों बेटे भी साज़िश में शामिल थे. तीनों ने ट्विंकल की किडनैपिंग और मर्डर से पहले हिंदी फिल्म ‘दृश्यम’ को कई बार देखा था.
पूछताछ में दृश्यम फिल्म का ज़िक्र आते ही पुलिस को ये समझने में भी देर नहीं लगी कि जगदीश करोतिया के घर से निकले कुत्ते का शव इसी साज़िश का हिस्सा था. और तो और खुद जगदीश करोतिया ने ये खबर फैलाई थी कि उनके घर में किसी की लाश दफन है. ताकि पुलिस जब आए तो उसे खुदाई में कुत्ते का शव मिले और उन पर लग रहे इल्ज़ाम एक ही झटके में खत्म हो जाएं. और हुआ भी ठीक ऐसा ही.
मगर अब भी ये सवाल कायम था कि अगर जगदीश करोतिया के घर से कुत्ते का शव मिला तो ट्विंकल का शव कहां है. और इतना ही नहीं उसके मोबाइल की आखिरी लोकेशन ये क्यों बता रही थी कि वो इंदौर से करीब 100 किमी दूर बदनावर में थी. अभी इनका खुलासा होना बाकी था.
ट्विंकल की गुमशुदगी को लेकर करोतिया परिवार अब बेनक़ाब हो चुका था. लेकिन कुछ सवाल अब भी जस का तस थे. और वो ये कि आख़िर ट्विंकल का मोबाइल फ़ोन आख़िरी बार उसके मंगेतर के घर के पास जाकर क्यों बंद हुआ? और दूसरा ये कि ट्विंकल की लाश का क्या हुआ? तो ये कहानी भी आखिर में सामने आती है.
बीजेपी नेता जगदीश करोतिया ने ट्विंकल को अपनी हवस का शिकार तो बना लिया था मगर अब वो उसी के गले की हड्डी बनने लगी थी. ट्विंकल जगदीश के साथ उसी के घर में रहने की ज़िद कर रही थी. मगर ये ना तो जगदीश की पत्नी को गवारा था और ना ही उनके बेटों को. लिहाज़ा पांचों ने मिलकर दृश्यम पार्ट टू बनाने का फैसला किया. इसमें जगदीश उसके बेटे विजय, अजय और विनय के अलावा पांचवा किरदार नीलेश कश्यप था. जिसकी ज़मीन पर ट्विंकल का कत्ल किया जाना था.
जगदीश ने ट्विंकल से कहा कि वो उसे कहीं और घर दिलाएगा. उसी बहाने उसे साजिश के तहत फंसाया गया. 16 अक्टूबर 2016 की सुबह 11 बजे मकान देखने के लिए ट्विंकल को बीजेपी नेता ने घर बुलाया. बहाने से अजय और जगदीश करोतिया उसे एमआर-10 पर दोस्त नीलेश के खेत पर ले गए. खेत पर आते ही करोतिया ने अजय के साथ मिलकर रस्सी से ट्विंकल का गला घोंट दिया. जगदीश ट्विंकल के शव को नीलेश के खेत में ही दफनाना चाहता था उसने मना कर दिया. लिहाज़ा तीनों ने शव को कपड़े में लपेटा और कार की डिक्की में रखकर घर ले आए. दूसरे दिन सुबह करीब 5 बजे कार लेकर सांवेर रोड पर अवंतिका नगर के प्लॉट पर पहुंचे. कुत्ता मरने की बात कहकर जगदीश ने निगम कर्मियों से प्लाट पर गड्ढा खुदवाया. निगमकर्मियों के जाते ही गड्डे में कचरा, लकड़ियां जमाकर ट्विंकल के शव को जला दिया. मौके पर जगदीश के अलावा उसके बेटे अजय, विनय और विजय के साथ नीलेश भी था. शव को जलाने के दो दिन बाद हड्डियां और राख बोरे में भरकर नज़दीकी नाले में बहा दी.
इसके बाद अजय ने ट्विंकल का मोबाइल इंदौर में ही ऑन कर बदनावर जाकर फेंक दिया ताकि पुलिस का शक उसके मंगेतर अमित पर जाए. मगर ब्रेन इलेक्ट्रिकल ऑसिलेशन सिग्नेचर टेस्ट में हुए खुलासे ने आरोपियों के दृश्यम की पोल पट्टी खोल दी. पुलिस को शव जलाने वाली जगह से ट्विंकल की बिछिया, ब्रेसलेट, कपड़े और कुछ सामान मिले हैं. जिसके बाद पांचों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया.
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